• 16.8.20

    गांधीजी की 11 सूत्रीय मांगे

    गांधीजी की 11 सूत्रीय मांगे
    कांग्रेसी 1929 के लाहौर अधिवेशन में 'पूर्ण स्वराज' का लक्ष्य रखा गया तथा गांधीजी को नागरिक अवज्ञा आंदोलन प्रारंभ करने की अनुमति प्रदान की गई परंतु इस आंदोलन से पहले गांधी जी ने अपने पत्र 'यंग इंडिया' के माध्यम से 11 सूत्रीय मांगे रखी बाद में वायसराय लॉर्ड इरविन के समक्ष ये मांगे रखी गईं, जो इस प्रकार थी-
    1. नमक कर को समाप्त किया जाए।
    2. नशा करने पर प्रतिबंध लगाया जाए।
    3. भू राजस्व को 50% कम करना।
    4. सेना व्यय में 50% की कटौती करना।
    5. सिविल सेवाओं की वेतन में 50% की कटौती करना।
    6. आत्मरक्षा के लिए हथियार रखने की अनुमति।
    7. वस्त्र उद्योग को संरक्षण प्रदान करना।
    8. राजनीतिक बंदियों की रिहाई।
    9. रुपया- स्टर्लिंग अनुपात को कम किया जाए।
    10. गुप्तचर विभाग में सुधार करना।
    11. भारतीय समुद्र तट का उपयोग केवल भारतीय जहाजों द्वारा किये जाने के लिये कानून बनाया जाए।

    सरकार की तरफ से इन मांगों पर कोई सकारात्मक उत्तर नहीं दिया गया जिससे विवश होकर गांधीजी ने सविनय अवज्ञा आंदोलन प्रारंभ करने का निश्चय किया।

    No comments:

    Post a Comment

    शिक्षक भर्ती नोट्स

    General Knowledge

    General Studies